TATA Semiconductor Company in India $300 बिलियन की टाटा सेमीकंडकर कम्पनी फाइनल

TATA Semiconductor Company in India $300 बिलियन की टाटा सेमीकंडकर कम्पनी फाइनल

टाटा ग्रुप भारत का सबसे बड़ा बिजनेस समूह है । 1868 में जमशेदजी टाटा द्वारा बनाया गया ये ग्रुप आज एक विशाल बिजनेस हाउस बन गया है।

टाटा ग्रुप के पास सबसे ज्यादा कंपनियां है। वर्तमान समय मे इस ग्रुप की 100 से ज्यादा कंपनिया काम कर रही है । ओर इस ग्रुप की 30 तो बड़ी कंपनियां है । जिनमे से अधिकांश स्टॉक मार्किट में लिस्टेड है।


टाटा ग्रुप ही भारत का सबसे भरोसेमंद ब्रांड भी है। देश की सबसे महत्वपुर्ण एयरलाइन कंपनी एयर इंडिया को भी टाटा ग्रुप ने ही सुरु किया था । 


इस तरह से टाटा ग्रुप  हमेशा आगे रहा है । टाटा ग्रुप ने कोरोना के काल में भी सरकार को सबसे ज्यादा दान दिया था ।


और अब टाटा ग्रुप एक नए बिजनेस में उतरने की कोशिश कर रहा है


टाटा सेमीकंडक्टर  TATA semiconductor manufacturing


टाटा ग्रुप फाइनली सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में उतरने की पूर्ण तैयारियां कर चुका है । भारत का सबसे बड़ा बिजनेस घराना अब एक आउटसोर्स सेमीकंडक्टर असेंबली एंड टेस्टिंग (OSAT) प्लांट को भारत में लगाने जा रहा है।

TATA Semiconductor Company in India टाटा सेमीकंडकर कम्पनी


Tata Semiconductor Assembly Unit टाटा ग्रुप की सेमीकंडक्टर असेंबली यूनिट


टाटा ग्रुप की सेमीकंडक्टर असेम्बलिंग यूनिट का काम सिलिकॉन वेफर्स के सेमीकंडक्टर्स को पैकेजिंग करना , असेंबल करना,  टेस्टिंग करना है। इस कंपनी का पूरा काम सिलीकान वेफर स्कोर पैकेज करना , असेंबल करना, टेस्ट करना और उसके बाद में उसको सेमीकंडक्टर चिप में बनाना होगा । यह सारा काम आउटसोर्स सेमीकंडक्टर असेंबली टेस्टिंग OSAT प्लांट में किया जाएगा ।



टाटा सेमीकंडक्टर बनाने की कंपनी TATA Semiconductor Manufacturing Company


टाटा ग्रुप फिलहाल सॉफ्टवेयर में बहुत आगे है । सॉफ्टवेयर के क्षेत्र में टाटा ग्रुप की टाटा कंसलटेंसी सर्विस टीसीएस TCS तथा टाटा एलेक्सी TATA ELXSI काफी आगे काम कर रही है  । लेकिन हार्डवेयर के मामले में टाटा ग्रुप थोड़ा पीछे ही था । अब टाटा ग्रुप हार्डवेयर में घुसने की कोशिश कर रहा है ।


फिलहाल टाटा ग्रुप की कंपनी टाटा elxsi रोबोटिक्स, डिज़ाइन ओर सेमीकंडक्टर के फील्ड में काम कर रही है । इस तरह से टाटा एलक्ससी ELXSI ही लगभग सेमीकंडक्टर प्लांट को ऑपरेट करेगी । तथा हो सकता है आने वाले समय में इसको एक नई कंपनी का ही दर्जा दे दिया जाए ।

TATA Semiconductor Company in India टाटा सेमीकंडकर कम्पनी

Tata Elxsi Semiconductor टाटा एलेक्सी सेमीकंडक्टर

टाटा elxsi इस समय सेमीकंडक्टर के क्षेत्र में भी थोड़ा बहुत काम कर रही है इस कारण से इस चीज की बहुत संभावनाएं बनती बनती जा रही है कि यह सेमीकंडक्टर प्लांट टाटा एलेक्सी ही देखेगी । टाटा एलेक्सी इस समय पर ऑटोमेशन आईओट्टी और रोबोटिक्स के क्षेत्र में भी काफी आगे काम कर रही है।


टाटा ग्रुप उतरा सेमीकंडक्टर चिप बनाने में - ये स्टॉक भागेगा

Tata Semiconductor Company Location टाटा सेमीकंडकर कम्पनी लोकेशन

टाटा ग्रुप ने अपने सेमीकंडक्टर असेंबली यूनिट को स्थापित करने के लिए 3 स्टेट्स को चुन लिया है । इनमें सबसे पहले तेलंगाना का नाम सामने आ रहा हैं।  उसके बाद में कर्नाटक और तमिलनाडु को भी टाटा ग्रुप अपनी सेमीकंडक्टर चिप कम्पनी के लिए विचार कर रहा है ।


और इसमें सबसे ज्यादा संभावना है कि यह तेलंगाना में ही लगेगा ।


Tata Semiconductor Investment टाटा ग्रुप का सेमीकंडक्टर में इन्वेस्टमेंट 


टाटा ग्रुप अपनी इस सेमीकंडक्टर चिप यूनिट पर लगभग 300 मिलियन डॉलर का इन्वेस्टमेंट करेगा।  300 मिलियन डॉलर के एक बड़े इंवेटमेंट में टाटा ग्रुप का ये प्लांट सुचारू रूप से चालू हो जाएगा ।  भारतीय मुद्रा में यह निवेश लगभग 2200 करोड़ का होगा ।



Tata Motors Semiconductor Shortage टाटा मोटर्स में चिप की कमी


पूरी दुनिया मे फिलहाल सेमीकंडक्टर चिप की कमी चल रही है । और टाटा ग्रुप की कंपनी टाटा मोटर्स इससे सबसे ज्यादा प्रभावित है । 

TATA Semiconductor Company in India टाटा सेमीकंडकर कम्पनी

भारत में काफी ज्यादा गाड़ियां टाटा मोटर्स ही बनाता है। इसके अलावा जगुआर ओर लैंडरोवर भी टाटा मोटर्स के पास ही है । 

भारत में टाटा मोटर्स के लिए इस समय सबसे बड़ी समस्या सेमीकंडक्टर चिप्स की ही है । जिसके कारण से यह नई गाड़ियां लांच भी नहीं कर पा रहे हैं तथा पुरानी गाड़ियों के ऑर्डर से काफी पेंडिंग पड़े हैं । 


तो टाटा ग्रुप की इस सेमीकंडक्टर चिप यूनिट से सबसे पहले टाटा मोटर्स को ही फायदा होगा । क्योंकि इसकी बनी हुई चिप्स सबसे पहले टाटा मोटर्स को ही सप्लाई होगी । अब टाटा मोटर्स को विदेशो से सेमीकंडक्टर चिप पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा।


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TATA Semiconductor Plant Operational प्लांट कब तक तैयर हो जाएगा


टाटा की सेमीकंडक्टर मैनुफैक्चरिंग यूनिट टाटा ग्रुप और टाटा मोटर्स के लिए बहुत ही सिग्निफिकेंट है ।

टाटा ग्रुप के अनुसार  2021 के दिसंबर अंत तक टाटा ग्रुप राज्य का  सिलेक्शन कर लेगा । और उसके बाद में टाटा ग्रुप ने कहा है कि वह जमीन एक्वायर दिसंबर 2021 में ही कर लेगा । 


2022 के मध्य तक टाटा ग्रुप का यह प्लांट तैयार हो जाएगा ।और उसके बाद में 2022 के अंत तक ये प्लांट पूरी तरह से फंक्शनल हो जाएगा ।


Funcion of TATA Semiconductor Company टाटा सेमीकंडकर कंपनी का काम 

टाटा ग्रुप सबसे पहले यहां पर outsourced semiconductor assembly and test (OSAT) plant स्थापित करेगा ।  जिसका काम सिलिकॉन वेफर्स की  पैकेजिंग ,असेंबलिंग और टेस्टिंग का होगा । जो कि फाउंड्री मोड से लेकर वापस होगी । उनको ये OSAT फैसिलिटी फिनिश्ड सेमीकंडक्टर चिप में  परिवर्तित करेगा।

सेमीकंडक्टर डिवाइस किसी भी इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस में सबसे महत्वपूर्ण होती है । टाटा ग्रुप अपनी इस कंपनी में  मुख्यतः डायोड,  ट्रांजिस्टर , इंटीग्रेटेड सर्किट IC ओर माइक्रो प्रोसेसर  बनाएंगा । 


TATA Semiconductor Company in India टाटा सेमीकंडकर कम्पनी



सेमीकंडक्टर चिप की कमी का कारण


जैसे ही कोरोना वायरस के कारण से पूरी दुनिया में लॉकडाउन लगा । उसके कारण से पूरी दुनिया में ही सेमीकंडक्टर चिप की कमी आ गई । इसका मुख्य कारण चीन , ताइवान ओर साउथ  कोरिया जैसे देशों में सेमीकंडक्टर चिप बनाने वाली कंपनियों के बंद होने का कारण रहा है ।


यहा बहुत सारी कंपनियां बंद हो गई । इसके कारण से सेमीकंडक्टर की बहुत ज्यादा कमी हो गई । 


इसके कारण से टाटा मोटर्स अपने बहुत सारे परिवहन वाहनों को लांच ही नहीं कर पाया था । यह हालत टाटा मोटर्स के जैसा ही बाकी सारी कंपनियों का भी है।


ज्यादातर कंपनियां अपना नए वाहन लॉन्च ही नहीं कर पा रही है टाटा इन सेमीकंडक्टर चिप्स का प्रयोग अपनी हाइब्रिड और इलेक्ट्रिक कारों को लॉन्च करने में और सड़क पर लाने में करेगा ।


इससे टाटा मोटर्स बहुत आगे बढ़ेगा और इसके अलावा जो सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग कंपनी है वह भी आगे बढ़ेगी ।


कोन सी सेमीकंडक्टर डिवाइस बनेगी 



New Jobs and Signification कितनी नई नोकरियां एवं प्रभाव  


टाटा ग्रुप ने यह बोला है कि उनका 300 मिलियन डॉलर का यह प्लांट लगभग 4000 जॉब नयी क्रिएट करेगा ।


इसके कारण से टाटा ग्रुप को काफी फायदा होगा । और यह भारत के लिए भी मेक इन इंडिया को भी प्रभावशाली  तरीके से बहुत आगे  बढ़ाएगा ।


टाटा साउथ की इन्हीं राज्यों में पहले ही एप्पल के प्रोडक्ट्स के पार्ट्स बनाना स्टार्ट कर चुका है । इसमें बहुत बड़ा इन्वेस्टमेंट टाटा ने लगाया है ।


एप्पल के पार्ट्स बनाने के प्लांट में  लगभग 5000 करोड़ के इन्वेस्टमेंट से वह एप्पल के प्रोडक्ट के पार्ट्स बना रहा है।


और अब सिलिकॉन चिप के साथ माइक्रोप्रोसेसर और सेमीकंडक्टर में उतर रहा है । तो इस तरह से टाटा ग्रुप बहुत बड़ा इन्वेस्टमेंट कर रहा है । तो यह बहुत बड़ी बात है भारत के लिए और सभी के लिए ।


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ग्रुप के मुख्य क्लाइंट 


शुरुआत में टाटा ग्रुप के जो सेमीकंडक्टर चिप्स है वह टाटा ग्रुप की कंपनीयो में ही काम मे लिए जाएंगे । जिनमें टाटा मोटर्स है जो की सबसे ज्यादा सेमीकंडक्टर चिप की शॉर्टेज सामने कर रही है । 


इसके बाद में जैसे-जैसे इनकी मैनुफैक्चरिंग बढ़ती जाएगी  तो उसके बाद में टाटा ग्रुप के पास में बहुत मजबूत बिजनेस लाइन है । इनमे दुनिया की मशहूर कंपनिया जैसे इंटेल ,एडवांस माइक्रोसिस्टम डिवाइसेज AMD और एसएमटी माइक्रोसिस्टम्स भी शामिल है ।


तो इस तरह से भारत का टाटा ग्रुप अब सेमीकंडक्टर चिप बनाने के क्षेत्र में भी अव्वल तरीके से उतर चूका है। अब भारत को सेमीकंडक्टर के क्षेत्र में विदेशो पर निर्भर नहीं रहना होगा। इससे टाटा ग्रुप और इसके निवेशकों को भी काफी फायदा होगा।


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